Cat looking in mirror as Lion. Moral story in Hindi.
एक बार एक शिष्य ने अपने गुरु से शिक्षा ली तो शिष्य ने कहां, की दीक्षा के समय कुछ ऐसा बताईए जो मैं सदा याद रखु ? गुरु ने कहां, एक बात का हमेशा ख्याल रखना: बिल्ली कभी मत पलना। शिष्य थोड़ा हैरान हुआ की यह आदमी पागल मालूम होता है। हम ज्ञान की खोज में निकले है और इस आदमी से दीक्षा ले फैसे ; और यह क्या उपदेश दे रहा है की बिल्ली कभी मत पालना !
फिर कुछ समय बाद गुरु तो मर गया। और जो उसने कहां था, चूँकि इसने उसको कभी समझा ही नहीं था। और उसने समझा की व्यर्थ की बकवास कर रहा है, दिमाग खराब हो गया है, सठिया गया है। साठ के ऊपर था और दो आदमी भरोसे के नहीं होते। पुराने ज़माने में जो सठिया जाते थे, साठ के पार चले जाते थे वे भरोसे के नहीं थे। आज के ज़माने में जो कुर्सियां जाते है, कुर्सी पर बैठ जाते है, अब उनकी बात का कोई मतलब नहीं है।
बूढ़ा तो मर गया। शिष्य के पास एक लंगोट ही थी, उसको खूटी पर टांगता था, तो चूहे काट जाते थे, तो उसने गांव के लोगों से पूछा, की क्या करू रोज चूहे लंगोट को काट जाते है ? तो गांव वालो ने राय दी की एक बिल्ली पाल लो। वह भूल ही गया था बिलकुल की गुरु ने कहां था की बिल्ली कभी मत पालना। गुरु ने अपने अनुभव से कहां था क्योंकि यही कहानी उसके साथ भी दोहरी थी।
तो शिष्य ने एक बिल्ली पाल ली झंझट शुरू हो गया क्योंकि बिल्ली को भोजन चाहिए उसको दूध चाहिए। चूहे तो ख़त्म कर दिए बिल्ली ने लेकिन बिल्ली आ गयी। अब उसने गांव के लोंगो से पूछा, की बिल्ली ने चूहे तो ख़त्म कर दिए अब उसके लिए दूध कहा से लाये ? गांव के लोंगो ने कहां इसमें क्या अड़चन है ? एक गाय हम आपको भेंट दिए देते है।
गांव के लोंगो ने उसे एक गाय भेंट दे दी बिल्ली के पीछे अब गाय आ गयी। गाय के लिए घास कब तक गांव के लोग देंगे। उन्होंने कहां, ऐसा करो की जमीन पड़ी है तुम्हारे आसपास मंदिर के थोड़ी खेती-बाड़ी शुरू कर दो। उसने खेती-बाड़ी शुरू कर दी, तो कभी बीमार भी होता, पानी डालना है, कोई पानी डालने वाला चाहिए। खेती बाड़ी में समय ज्यादा लग जाता, खुद ही खाना बनाना है।
फिर उसने इस समस्या के समाधान के लिए गांव के लोगो से पूछा, तो गांव के लोगो ने कहां, ऐसा करो, शादी कर लो। एक लड़की थी भी गांव में योग्य, बिलकुल तैयार। उन्होंने इसकी शादी करवा दी। फिर बच्चे हो गए। फिर वह भूल ही गया, दीक्षा, सन्यास वह सब मामला खत्म हुआ, अब बच्चो को पढ़ाना-लिखन, खेती-बाड़ी हो गयी, व्यवसाय फ़ैल गय।
जब मरने के करीब था, तब उसे एक दिन याद आया, जैसे नींद से चौका, ‘की हद कर दी’, उस बूढ़े ने भी ठीक ही कहां था की बिल्ली मत पलना ! बिल्ली के पीछे सब चला आता है। पहला कदम तुमने उठाया, फिर मुश्किल हो जाती है।
शिक्षा- सी ए टी कैट; कैट यानि बिल्ली ! बिल्ली से जो बचा, वह सबसे बचा।
गुरु की शिक्षा- बिल्ली कभी मत पलना कहानी आपको कैसी लगी कृपा कॉमेंट के माध्यम से जरूर बताए ।
इन stories को भी ज़रूर पढ़ें
दिमाग को हिला देंगी ये 5 शिक्षाप्रद कहानियां
Related Posts
Agility is the ability of a company's leadership to respond quickly and efficiently to the… Read More
1xBet Best Betting Platform 1xBet has been around since it was founded in Cyprus in… Read More
Benefits of Sports Betting Over Casino Games In India, the love for games is famous,… Read More
The Different Parts of Slot Machines and How They Impact Winning When it comes to… Read More
The Rise in Popularity of Online Casinos Many reasons have contributed to the popularity of… Read More
Security is vitally important. Cloud web security provides another and much-needed layer of security for… Read More
This website uses cookies.